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A Poem for Father - पापा बच्चो के लिए हिम्मत (Importance of Father)

पापा बच्चो के लिए हिम्मत 



पापा के शब्द से ही मन में हिम्मत आती है

पापा की छवि मन में समाती है

पापा अपने बच्चो को हिम्मत देने वाली एक कुंजी है

क्योकि बच्चे ही तो पापा के लिए पूंजी है 

देखो कैसा समय आ गया है कि 

पापा दिल में गम लिए  चुप बैठे है

और बच्चे है की पापा से रूठे बैठे है

पापा ही तो बच्चे को ऊँगली पकड़ कर चलना सिखाते  है 

बच्चे को कभी गोदी तो कभी पीठ पर घुमाते है 

और जब बच्चो का ये सब करने का समय आता है 

तो वही बच्चा पापा से कोसो मील दूर हो जाता  है 

पापा बच्चो से कभी शिकायत नहीं करते है 

बच्चो के फैसलों पर उनके साथ खड़े होते है 

और आज के बच्चे अपने ही पापा को गलत समझते रहते  है 

फिर वही बच्चे अपने पापा के फैसलों पर ऊँगली उठाते है 

और बच्चे अपना समय भूल जाते है 

पापा के लिए बच्चे कभी अकेले  नहीं होते है 

क्योकि बच्चो की परछाई बनकर पिता हमेशा उनके साथ होते  है। 


Kalyug Changed everything - (देखो भाई कैसा कलयुग आया है )

मैं उम्मीद करता हूँ आप सभी  को मेरी कविताये और मेरी सोच पसंद आती है  अगर आपको कोई भी कमी मिले तो कृप्या आप मुझे बताये हम मिलकर उस कमी को दूर करेंगे।

अगर आपको मेरी यह कविता पसंद आयी है तो आप कमेंट और शेयर जरूर करे। 

आप मुझे मेरी मेल पर भी सम्पर्क कर सकते है npcoolguy1@gmail.com

आपका  अपना ब्लॉग www.idealjaat.com


धन्यवाद 
आपका नवी 

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